Azamgarh News: अवैध काॅलोनियों को किया जाएगा नियमित

आजमगढ़। नई महायोजना 2035 काफी इंतजार के बाद लागू हुई। इसके लागू होने से पूर्व जनपद में कई अवैध कालोनियां बस गई। अब इन अवैध कालोनियों का सर्वे शुरू कर दिया गया है। जिसमें यह देखा जाएगा कि कौन सी कालोनियां आवासीय क्षेत्र में आई हैं ताकि उसमें बसे लोगों के मानचित्र को स्वीकृत कराया जा सके। ताकि प्राधिकरण में चल रहे मुकदमों का बोझ भी कम होगा।
13 साल से लोग जनपद की नई महायोजना का इंतजार कर रहे थे। 2011 में ही जिले की पुरानी महायोजना का कार्यकाल पूरा हो चुका था। नई महायोजना लागू न होने के कारण लोग कृषि और अन्य क्षेत्रों में आवास का निर्माण करा रहे थे। जिसका परिणाम हुआ लगभग 2500 लोगों को एडीए की ओर से नोटिस जारी किया गया। यह लोग अभी तक एडीए में मुकदमा लड़ रहे हैं। इसमें ज्यादातर लोग अवैध रूप से बिल्डरों द्वारा बसाई गई कालोनियों में निवास करने वाले लोग हैं। नई महायोजना 2031 के लागू होने के बाद जिन क्षेत्रों का भू उपयोग परिवर्तित होकर आवासीय हो गया है। उन क्षेत्रों में अब लोगों का मानचित्र स्वीकृत हो सकता है। जिसे देखते हुए प्राधिकरण के सचिव पद का प्रभार रहे एडीएम वित्त एवं राजस्व ने एडीए कर्मियों को अवैध रूप से विकसित कालोनियों का सर्वे करने का निर्देश दिया है। वहीं जो कालोनियां ऐसी जगह बसी हैं जहां भू उपयोग परिवर्तित नहीं हो सकता है जैसे ग्रीन लैंड, क्रीड़ा पार्क में बने निर्माणों के खिलाफ कार्रवाई भी की जा सकती है।
जल्द होगी आर्कीटेक्टों की बैठक
आजमगढ़। महायोजना स्वीकृत होने के बाद बहुत से लोगों के मानचित्र आर्कीटेक्ट की गडबड़ी के कारण खारिज हो जा रहे हैं। जिसे देखते हुए जल्द ही आर्कीटेक्टों की बैठक होगी। जिसमें सचिव व एडीएम वित्त एवं राजस्व की ओर से उन्हें निर्देशित किया जाएगा कि वह जो मानचित्र बनाकर आनलाइन भेज रहे हैं। उसे बनाने से पहले मौके पर जाकर निरीक्षण करें फिर मानचित्र का निर्माण कर उसे अपलोड करें।
एक एकड़ से अधिक रकबे की कालोनी का ले आउट ही पास हो सकता है। जो कालोनियां बस चुकी हैं और लोगों ने भवनों का निर्माण करा लिया है। वहां पर रास्ता नौ मीटर से कम है। ऐसी जगहों पर लोगों से हलफनामा लिया जाएगा कि वह रास्ते के लिए जमीन छोड़ेंगे, मानचित्र को स्वीकृत किया जाएगा। मेरी लोगों से अपील है कि लोग अपने भवन का मानचित्र स्वीकृत कराएं। अन्यथा उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। – आजाद भगत सिंह, एडीएम वित्त एवं राजस्व व एडीए सचिव।