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अरबों का फर्जीवाड़ा : अंसल प्रॉपर्टीज की बढ़ती जा रही मुश्किलें, 7 और रिपोर्ट दर्ज, 1.06 करोड़ ठगे

Ansal fraud case : हाइटेक टाउनशिप के नाम पर फर्जीवाड़ा करने वाले अंसल निदेशकों प्रणव अंसल, सुशील अंसल समेत अन्य के खिलाफ सुशांत गोल्फ सिटी थाने में 7 और रिपोर्ट दर्ज की गई है। लखनऊ और प्रयागराज के पीड़ितों ने प्लॉट और फ्लैट के नाम पर करीब 1.06 करोड़ से अधिक की ठगी का आरोप लगाया है। इंस्पेक्टर अंजनी कुमार मिश्र ने बताया कि मामले की जांच शुरु कर दी है।

कानपुर रोड स्थित हिंदनगर निवासी रितु सिंह ने बताया कि वर्ष 2010 में अंसल में संपर्क कर एक प्लॉट बुक कराया था। एग्रीमेंट कर पीड़िता को 18 माह बाद प्लॉट विकसित कर रजिस्ट्री का आश्वासन दिया था। पीड़ित ने 48 रुपये अदा किए थे। 2014 में पीड़िता को बताया कि योजना को एलडीए से अनुमोदन मिल गया है। लिहाजा प्लॉट का क्षेत्रफल बढ़ने पर आपको 14 लाख अतिरिक्त देने होंगे। रितु ने बिना कुछ सोचे समझे रुपये ट्रांसफर कर दिए। 62 लाख देने के बाद पीड़िता ने अंसल में प्लॉट के लिए संपर्क किया तो टालमटोल की गई।

वहीं, बीबीडी स्थित मानस गार्डेन कॉलोनी निवासी डॉ. विभा ने बताया कि वर्ष 2011 में 162 स्क्वायर मीटर का प्लॉट बुक कर 8,92,400 रुपये कई बार में दिए थे। इसके बाद भी प्लॉट नहीं मिला। उधर, आलमबाग के चंदरनगर निवासी हेमंत दयाल ने बताया कि वर्ष 2010 में पैराडाइज डायमंड प्रोजेक्ट में उन्होंने और मौसी गीता ने दो फ्लैट बुक कराए थे। जिसके एवज में 12,28,643 रुपये अदा किए थे।

इसके अलावा प्रयागराज के गोविंदपुर निवासी चंद्र प्रकाश सिंह ने वर्ष 2010 में फ्लैट बुक कर कई किस्तों में 5,83,931 रुपये, वहीं के लालधारी सिंह ने 5,83,931 रुपये, हरेश प्रताप सिंह ने 5,83,931 रुपये और जगपाल सिंह ने 5,83,931 रुपये जमा किए थे। इसके बाद भी फ्लैट नहीं मिला। पीड़ितों ने सुशांत गोल्फ सिटी थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई है।

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