गाजियाबाद, नोएडा और ग्रेटर नोएडा सहित पूरे राज्य में लागू हुआ यह नया कानून… फ्लैट खरीदने से पहले जान लें नियम

UP News: लिफ्ट और एस्केलेटर एक्ट 2024 आने के बाद गाजियाबाद, नोएडा, ग्रेटर नोएडा सहित पूरे उत्तर प्रदेश में बिल्डरों को लिफ्ट लगाने से पहले ऊर्जा विभाग से अनुमति लेना अनिवार्य होगा. साथ ही हर साल सर्विसिंग कराना भी अनिवार्य होगा.
गाजियाबाद: योगी सरकार लिफ्ट और एस्केलेटर को लेकर राज्य में नया कानून (Lift Act) लाने जा रही है. सोसाइटी और कंस्ट्रक्शन साइट्स पर लिफ्ट और एस्केलटर से होने वाली दुर्घटनाओं को रोकने के लिए यह नया कानून लाया गया है. इस विधेयक के आने के बाद अब गाजियाबाद, नोएडा, ग्रेटर नोएडा सहित पूरे उत्तर प्रदेश में बिल्डरों को लिफ्ट लगाने से पहले ऊर्जा विभाग से अनुमति लेना अनिवार्य हो जाएगा. इसके साथ ही हर साल सर्विसिंग कराना भी अनिवार्य हो जाएगा. इस कानून के आ जाने के बाद अब लिफ्ट से होने वाली दुर्घटनाओं के लिए बिल्डरों के साथ-साथ लिफ्ट लगाने वाली कंपनियों की भी जिम्मेदारी तय होगी. यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में सोमवार को कैबिनेट की बैठक में यह फैसला हुआ है.
बता दें कि देश के अन्य राज्य हरियाणा, दिल्ली, हिमाचल प्रदेश, महाराष्ट्र, गुजरात, कर्नाटक और पश्चम बंगाल में लिफ्ट एक्ट लागू है. इसका उपयोग करते हुए इसकी सुरक्षा भी जरूरी है. इसी को ध्यान में रखकर यूपी सरकार भी अब विधेयक लाकर सुरक्षा मानक का पालन करना अनिवार्य करने जा रही है. अब दिल्ली-एनसीआर के गाजियाबाद, नोएडा और ग्रेटर नोएडा में बिल्डरों द्वारा स्थापित की गई लिफ्ट में सुरक्षा के जरूरी उपाए करने होंगे.
यूपी में भी लागू हुआ नया लिफ्ट कानूनपिछले साल नोएडा में एक हादसे के बाद पूरे देश में एक समान लिफ्ट लिफ्ट कानून लागू करने की मांग उठी थी. बता दें कि पिछले साल सितंबर महीने में ग्रेटर नोएडा के आम्रपाली ड्रीम वैली प्रोजेक्ट साइट पर हुए हादसे में 8 मजदूरों की मौत हो गई थी. इस हादसे के बाद कई परिवारों के चिराग बुझ गए. बता दें कि देश के अलग-अलग हिस्सों में लिफ्ट गिरने और इसमें फंसने की खबरें लगातार आती ही रहती हैं. लेकिन, लिफ्ट हादसों को लेकर देश में अब तक कोई ठोस कानून नहीं बना है.
लिफ्ट का लाइसेंस लेना अब मुश्किललिफ्ट को लेकर देश के 10 राज्यों में ही नियम हैं. राज्यों में लिफ्ट लगाने के लिए लाइसेंस लेने की जरूरत पड़ती है. ये राज्य हैं महाराष्ट्र, गुजरात, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, पश्चिम बंगाल, असम, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा और दिल्ली. जानकार मानतें है कि इन राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों के अपने लिफ्ट अधिनियम तो हैं, लेकिन वे उतने प्रभावी नहीं हैं. देश के कुछ ही राज्यों में लिफ्ट लगाने के लिए लाइसेंस लेने की जरूरत पड़ती है. लेकिन, कई राज्यों में अभी भी बिना लाइसेंस के ही लिफ्ट लगाए जा रहे हैं.